सम्भोग एक साधन है साध्य नहीं है
सम्भोग एक साधन है साध्य नहीं है : भारत जैसे देश में जहां काम को धर्म, अर्थ और मोक्ष के समकक्ष पुरुषार्थों में गिना गया है. वहीं संभोग को लेकर द्वैत सोच आज भी गहराई से व्याप्त है। एक ओर यह वासना के रूप में कलंकित होता है, वहीं दूसरी ओर तांत्रिक साधना और कामसूत्र […]